प्रयागराज. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने 68500 सहायक अध्यापक भर्ती में कम क्वालिटी प्वाइंट अंक पाने वालों को गृह जनपद आवंटित करने के मामले में सरकार से जवाब तलब किया है. अधिक अंक के बावजूद याची को दूर के जिले में नियुक्ति के खिलाफ याचिका पर कोर्ट ने राज्य सरकार व बोर्ड से छह हफ्ते में जवाब मांगा है. कोर्ट ने कहा है कि यदि जवाब नहीं दाखिल किया तो सभी विपक्षी अगली सुनवाई की तिथि 20 जुलाई को अदालत में हाजिर होंं. यह आदेश जस्टिस सिद्धार्थ की सिंगल बेंच ने मऊ की निवासी याची अभिलाषा की ओर से दाखिल याचिका पर दिया है.
याचिका पर अधिवक्ता एम ए सिद्दीकी ने बहस की. याची अधिवक्ता का कहना है कि सहायक अध्यापक भर्ती में याची सहित 41556 अभ्यर्थियों को सफल घोषित किया गया. याची को 63.104 क्वालिटी प्वाइंट अंक प्राप्त हुए. उसने अपने गृह जनपद को वरीयता दी थी, किंतु उसे सिद्धार्थ नगर जिला आवंटित किया गया. याची ने कार्यभार भी ग्रहण कर लिया है. जब कि उससे कम अंक प्राप्त करने वाले लोगों को मऊ गृह जनपद में नियुक्ति दी गई है, जो सरकार की नीति के खिलाफ है.
छह सप्ताह को दिया समय
इस मामले के संज्ञान में आने के बाद हाईकोर्ट ने विपक्षी को विचार करने का निर्देश दिया था. इसके बावजूद कोई कार्रवाई नहीं हुई तो कोर्ट ने विपक्षियों को छह हफ्ते में जवाब दाखिल करने का अंतिम अवसर दिया है और कहा है कि जवाब नहीं दिया तो कोर्ट में पेश हों. कोर्ट के निर्णय से इस मामले में अब सहायक अध्यापकों की तैनाती से जुड़े अधिकारियों की मुश्किल बढ़ सकती है.
पहले से ही विवादों में रही सहायक अध्यापक भर्ती
गौरतलब है कि 68500 सहायक अध्यापक भर्ती काफी विवादों मेंं रही है. इस भर्ती को लेकर कई स्तर पर याचिकाएं दाखिल हो चुकी हैं. पहले भी ऐसे मामले सामने आए जबकि अधिक अंक के बावजूद याचियों को उनके मनचाहे जिले में तैनााती नहीं दी गई थी.
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FIRST PUBLISHED : June 15, 2022, 16:00 IST