नोएडा. अगस्त 2022 से हेलीपोर्ट (Heliport) निर्माण का काम शुरू होना था. इसके लिए सभी तैयारियां कर ली गईं थी. नोएडा अथॉरिटी (Noida Authority) ने जमीन अधिग्रहण का काम भी पूरा कर लिया था. लेकिन टेंडर के स्तर पर कुछ कमी के चलते काम शुरू नहीं हो पाया. अब एक बार फिर से ग्लोबल टेंडर निकाले जाने की तैयारी चल रही है. आज रितु माहेश्वारी, सीईओ (CEO), अथॉरिटी ने इस संबंध में एक खास बैठक भी बुलाई है. बैठक में देशभर से हेलीपोर्ट का संचालन करने वालीं और निर्माण करने वालीं 18 कंपनियां हिस्सा लेंगी. गौरतलब रहे हेलीपोर्ट का निर्माण पीपीपी मॉडल पर होना है तो ग्लोबल टेंडर (Global Tender) जारी करने से पहले कंपनियों के साथ बातचीत की जा रही है.
यह कंपनी आएंगी नोएडा
हेलीपोर्ट के संबंध में नोएडा अथॉरिटी की ओर से आज एक बैठक बुलाई गई है. देशभर से पीएनसी इंफ्राटेक लिमिटेड, एफकान्स लिमिटेड, अडानी इंफ्रास्ट्रक्चर मैनेजमेंट सर्विस लिमिटेड, एनकरेज इंफ्रास्ट्रक्चर इवेस्टमेंट होल्डिग, रेफेक्स एयरपोर्ट, ग्लोबल वेक्ट्रा, इंडिया फ्लाई सेफ एविएशन लिमिटेड और जाट इंटरनेशनल एयरपोर्ट प्राइवेट लिमिटेड, आइआरबी इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपर्स लिमिटेड, एलएंडटी इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलेपमेंट प्रोजेक्ट, फेयरफाक्स इंडिया होल्डिग्स कारपोरेशन लिमिटेड, क्यूब हाइवे एंड इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड, जीवीके, जीएमआर, यमुना इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड, पवन हंस हेलीपोर्ट लिमिटेड नोएडा में होने वाली बैठक में हिस्सा लेने आ रही हैं.
पीपीपी मॉडल पर 30 साल तक करेगी हेलीपोर्ट का संचालन
हेलीपोर्ट का निर्माण पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप (पीपीपी) मॉडल पर होगा. हेलीपोर्ट का निर्माण करने वाली कंपनी ही 30 साल तक हेलीपोर्ट का संचालन करेगी. तकनीकि बिड का ग्लोबल टेंडर जारी होने पर एक ही कंपनी ने दिलचस्पी दिखाई थी. जिस पर नोएडा अथॉरिटी ने यूपी सरकार से टेंडर प्रक्रिया को आगे बढ़ाने की अनुमति मांगी थी.
अनुमति मिलने के बाद अब अथॉरिटी फाइनेंशियल बिड की तैयारी में लग गई है. हेलीपोर्ट के शुरू होते ही नोएडा सेक्टर-151ए में बन रहे इंटरनेशनल लेवल के गोल्फ कोर्स, हैबीटेट सेंटर जैसी परियोजनाओं को मानों विकास के पंख लग जाएंगे. हेलीपोर्ट बनने के साथ ही देश-विदेश से आने वाले मेहमान ट्रैफिक जाम में फंसे बिना सीधे नोएडा और ग्रेटर नोएडा आ-जा सकेंगे.
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एमआई-172 हेलीकॉप्टर भी उतर सकेगा नोएडा में
जानकारों की मानें तो हेलीपोर्ट को इस तरह से बनाया जाएगा कि यहां पर सबसे बड़े हेलीकॉप्टर एमआई-172 को भी उतारा जा सकेगा. गौरतलब रहे इस हेलीकॉप्टर में एक साथ 26 यात्री आ जाते हैं. लेकिन इस तरह के बड़े हेलीकॉप्टर का इस्तेमाल सिर्फ इमरजैंसी और वीआईपी मूवमेंट के दौरान ही किया जाएगा. इतना ही नहीं हेलीपोर्ट की डिजाइन इस तरह की होगी कि यहां पर 5 बेल 412 हेलीकॉप्टर (12 सीटर) एक साथ खड़े हो सकेंगे. हेलीपोर्ट पर ही हेलीकॉप्टर की मेंटेनेंस रिपेयर एवं ओवर हॉलिंग की सुविधा भी होगी.
एक बार में 40 यात्री आ और जा सकेंगे हेलीपोर्ट से
अथॉरिटी से जुड़े सूत्रों की मानें तो 500 वर्ग मीटर में टर्मिनल बिल्डिंग का निर्माण किया जाएगा. एक बार में हेलीपोर्ट से 20 सवारी रवाना और 20 जाने वाली सवारियों का संचालन होगा. हेलीपोर्ट से सिर्फ दिन में ही उड़ान भरी जा सकेगी. हेलीपोर्ट पर 15 मीटर ऊंचा एयर ट्रैफिक कंट्रोल टावर होगा. हेलीपोर्ट पर ही 50 कारों के लिए पार्किंग, इलेक्ट्रिक सब स्टेशन, फायर स्टेशन भी बनाया जाएगा. जरूरत पड़ने पर यहां से एयर एंबुलेंस का भी इस्तेमाल किया जा सकेगा.
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Tags: Helicopter, Jewar airport, Noida Authority
FIRST PUBLISHED : August 05, 2022, 09:33 IST